एक बड़ा ही घना जंगल था , एक पालतू कुत्ता रास्ता भटक के जंगल में घूम गया, उसे समझ नही आ रहा था की कहा और किस दिशा में जावू, वह इधर उधर देख रहा था, उतने में उसने देखा की एक शेर उसकी तरफ आ रहा है , कुत्ता बहुत डर गया , कुत्ते ने सोचा की अगर मैं यह से भागा तो शेर पकड़के खा जायेगा , और मुझमें इतनी ताकत नही की मैं शेर से लड़ सकता हु , उसे समझ में नही आ रहा था की क्या करू , उसने देखा की बाजू में कुछ हड्डियां पड़ी है, उसने शेर की तरफ पीठ करके हड्डियां चूसने लगा और जोर जोर से कहता रहा की शेर की शिकार करके आज मजा आ गया, बहुत ही स्वादिष्ट और नरम मांस था शेर का , मुझे तो रोज एक शेर चाहिए , उसकी यह बात सुनकर शेर डर गया और वहां से भाग गया। कुत्ते की जान तो बच गई , पर यह सब पेड़ पर बैठा हुवा बंदर देख रहा था। बंदर ने सोचा यह बहुत चालाक कुत्ता है, बंदर ने सोचा क्यों न मैं इस कुत्ते की चालाकी शेर को बता दू और शेर को अपना मित्र बना दू इससे हम जंगल में बिंधस्त रह सकेंगे । बंदर तुरंत शेर के पास चला गया , और उसने कुत्ते की पूरी चालाकी बता दी। शेर ने कहा चल बंदर मुझे उसके पास ले चल आज मैं उसका शिकार करूंगा , कुत्ता भी बहुत होशियार और समझदार था । उसने देखा की बंदर और शेर दोनो एक साथ आ रहे है , मामला कुछ गडबड लग रहा है , शायद बंदर ने वह सब देख लिया होगा , अब तो मैं गया। कुत्ते को अब ज्यादा डर लगने लगा। कुत्ते ने फिर एक तरकीब निकाली और फिर से उन दोनो के तरफ पीठ करके बैठ गया और जोर जोर से बंदर को गली देने लगा की , उस बंदर ने अभी तक शेर को फसके नही लाया , इतनी देर करदी मुझे बहुत जोर से भूख लगी है, अगर उसने शेर को फसके नही लाया तो मैं आज बंदर को ही खा जवूंगा , उसकी यह बात सुनकर शेर बहुत डर गया , शेर ने बंदर को गली देके वहा से भाग गया। और उस कुत्ते की जान बच गई। कुत्ता रास्ता खोज कर अपने घर पहुंच गया।
इस कहानी का बोध। अगर हमने साहस और अच्छी सूझ बूझ हो तो हम बड़े से बड़े परेशानी , प्रॉम्बलम को दूर कर सकते है। हम हमारी कठिन परिस्थिति में डट के खड़े होकर सामना करेंगे तो अंत में जीत हमारी होगी।
!!धन्यवाद!!
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